अहसास -: मोहब्बत की
मेरी कलम से लिखा हुआ प्यार तेरे लिए है
मेरी दिल से की गई हर पुकार तेरे लिए हैतुझे कैसे यकीन दिलाऊ कैसे भरोशा हो तुझे
मेरी इस जिंदगी की पूरी संसार तेरे लिए है।।
बिठा कर चाँद आसमाँ में आईने से देखना है मुझे
कितना बदल गया कितना सच्चाई है देखना है मुझे
वो रूप तेरी ख्वाब तेरी जिस पर रहती नजर मेरी
आखिर इतनी खूबसूरत आईना तुम हो तो देखना है मुझे ।।
मुझमे तेरा वजूद आज भी है
तेरा ख्वाब नही तू खुद आज भी है
मेरी रूह तक पहचानती है तुम्हे,
तू मेरी सांसो में मौजूद आज भी है।।
ये हवा का स्पर्श तेरी याद दिलाती है
ये शोर ये शन्नटा तेरी याद दिलाती है
महज कुछ शब्दों में बया करू तो कैसे
ये जिस्म ये रूह तेरी याद दिलाती है।।
मोतीराम साहू
9131308002
6 comments:
उत्कृष्ठ रचना मोतीराम भाई
धन्यवाद भैया जी
Bahut badhiya
THNKYOU
Behtreen bhaiya
Bahut khud🙏
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